Ranchi : झारखंड में मॉनसून आते ही सर्पदंश के आंकड़े बढ़ने लगे हैं. एक आंकड़े के मुताबिक पिछले कुछ महीने में राज्य के 17 जिलों में करीब 750 लोगों को सांप ने डंसा. इनमें से 40 से 45 लोगों की मौत हो गई. पूरे राज्य की बात करें तो सर्पदंश की सबसे ज्यादा घटना हजारीबाग जिले में हुई. यहां 180 लोगों को सांप ने डंसा, जिनमें से तीन की जान चली गई. वहीं गिरिडीह में 135 लोगों को सांप ने काटा, जिसमें 8 लोगों की मौत हुई.
यह है मौत के कारण
अब तक सर्पदंश से मौत के दो बड़े कारण सामने आए हैं. इसमें पहला यह है कि राज्य के अधिकतर जिलों में पर्याप्त एंटी वेनम इंजेक्शन उपलब्ध नहीं हैं. इससे सर्पदंश से शिकार लोगों की परेशानी बढ़ गई है. वहीं, दूसरी ओर कई सर्पदंश के शिकार कई लोग अंधविश्वास के चक्कर में फंसकर झाड़-फूंक कराने लगते हैं, जिससे उनकी मौत हो जाती है.
रिम्स में 15 दिनों में आए 73 मामले
सर्पदंश की घटनाएं कितनी तेजी से बढ़ रही है, इसका अंदाजा इसी से लगा सकते हैं कि राज्य के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल रिम्स में 15 दिन में ही सर्पदंश के 73 मामले आ चुके हैं.
सीएम के निर्देश के बावजूद असमंजस की स्थिति
यहां बता दें कि हाल ही में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने रांची मे 206 एंबुलेंस का उद्घाटन किया था. इस दौरान उन्होंने धनबाद और देवघर के सिविल सर्जन से सर्पदंश की घटनाओं और जिले में एंटी वेनम के डोज की जानकारी मांगी थी, लेकिन वे नहीं बता सके. तब सीएम ने निर्देश दिया था कि सभी जिलों में सीएचसी स्तर पर पर्याप्त एंटी वेनम उपलब्ध कराएं. उन्हें यह सूचना नहीं मिलनीचाहिए कि सांप काटने से लोगों की मौत हुई है. बावजूद इसके, एंटी वेनम डोज को लेकर राज्य में असमंजस की स्थिति बनी हुई है.