जमशेदपुर :जहां रेल अधिकारी और आरपीएफ की मिली-भगत से रेल क्षेत्रों में दशकों से अवैध निर्माण कार्य करवाया जा रहा है वहीं टाटानगर के रेल अधिकारी कांग्रेस के एक अदना सा कार्यकर्ता से हार गए है. उस कार्यकर्ता की कांग्रेस पार्टी में गहरी पैठ भी नहीं है और न ही किसी कार्यक्रमों में ही शरीक होते हैं, लेकिन उन्होंने आरटीआई के क्षेत्र में अपनी ऐसी पैठ बनाई है कि उनके सवाल का जवाब दे पाना सभी अधिकारी के बस की बात नहीं होती है.
अदना सा कार्यकार्ता का नाम है विनय सिंह. जब उनका नाम सामने आया तब रेल क्षेत्र के पंचायत के मुखिया आवाक रह गए. उन्हें समझ में नहीं आ रहा था कि आखिर बागबेड़ा कॉलोनी के रहने वाले विनय सिंह ने ही पंचायत, विधायक और सांसद फंड से रेल क्षेत्र में काम रोकवा दिया है.
सवाल था एनओसी ली है क्या
विनय सिंह का सवाल मात्र इतना ही था कि क्या रेल अधिकारी रेल क्षेत्र में विकास कार्य करवाने के लिए एनओसी ले रखे हैं. बस इसी सवाल का जवाब रेल अधिकारियों के पास नहीं था.
रेल अधिकारी सकते में
विनय सिंह के सवाल से रेल अधिकारी सकते में आ गए. उन्हें तो एक बात का डर था कि झारखंड में कांग्रेस, झामुमो और राजद गठबंधन की सरकार है. ऐसे में आरटीआई के जिला अध्यक्ष ने सवाल पूछा है.
विकास कार्यों पर ही लगवा दिया रोक
अंततः रेल अधिकारियों को जब कुछ भी नहीं सूझा तब विकास कार्यों पर ही रोक लगवा दिया. इसको लेकर जिले के डीसी तक तो पत्र लिखकर अपनी मंशा को बताने का काम कर दिया. अब बेचैनी पंचायत के मुखिया, सांसद और विधायक की बढ़ गई है. इसके साथ ही रेल क्षेत्र और हाउसिंग कॉलोनी में रहने वाले लोगों की भी परेशानी कम नहीं बढ़ी है.