Ashok Kumar
जमशेदपुर : सुबह 5 बजे बेटी कृतिका उठ गयी थी. नहा-धोकर सुबह 7 बजे के पहले ही स्कूल जाने के लिये तैयार हो गयी थी. इसके पहले नाश्ता किया और टिफीन बॉक्स लेकर स्कूल चली गयी. इसके बाद मजदूर पिता भी काम पर चले गये. मां मुन्नी देवी बेटी के लिये दोपहर का खाना बनाकर रखी हुई है. वह दोपहर के समय बेटी को याद ही कर रही थी कि आखिर अभी तक आयी क्यों नहीं. इस बीच ही अचानक से स्कूल के टीचर घर पर पहुंच जाते हैं और कृतिका के बारे में बताया. इसपर उन्हें विश्वास ही नहीं हुआ कि बेटी अब इस दुनिया में नहीं है.
