चाईबासा।
वर्ष 2019 के बाद शनिवार को हुए कोल्हान विश्वविद्यालय के सीनेट की पांचवी बैठक में सीनेट के राज्यपाल द्वारा नामित और विधायक सदस्यों के शामिल नहीं होने से एक बार फिर सीनेट के 10 और सदस्यों का चुनाव टल गया। इसे सीनेट की अगली बैठक में करने का निर्णय लिया गया। इस आशय की घोषणा कुलपति डा. गंगाधर पांडा ने की।
ये ऐसे सदस्य चुने जाने थे जो विश्वविद्यालय के पे रोल पर कार्यरत नहीं हों । बैठक में चाईबासा के विधायक दीपक बिरूवा के पहले से दिए गए एक लिखित सवाल के जवाब में बताया गया कि बार काउंसिल आफ इंडिया के प्रावधानों के अनुरूप 5 एकड़ जमीन की व्यवस्था होने के साथ हीं चाईबासा में ला की पढाई शुरू की जाएगी। इसके लिए विधायक , उपायुक्त और सरकार से पत्राचार किया जा रहा है । सीनेट की बैठक में कुलपति डा. पांडा ने सदस्य प्रत्यूष कुमार पाणि के एक सवाल के जवाब में बताया कि एक वर्ष के अंदर विश्वविद्यालय के सभी कालेजों के कार्यालयों का डिजीटलाईजेशन कर दिया जाएगा, इसकी प्रक्रिया शुरू कर दी गयी है ।
इस बैठक में सीनेट के सदस्य राजेश कुमार शुक्ला ने छात्र संघ के चुनाव का मुद्दा प्रमुखता से उठाया । उन्होने जमशेदपुर में चल रहे ला कालेज की बदहाली को भी सीनेट की बैठक में रखा और वहां भवन , शिक्षक , पुस्तकालय, शिक्षक और शिक्षकेत्तर कर्मियों की कमी की बात भी उठायी । जिस पर एक कमिटी का गठन कर इन समस्याओं का निदान करने का निर्णय लिया गया । बैठक में पूर्व कुलपति डा. शुक्ला महंती ने विश्वविद्यालय की प्रगति की सराहना की और उन्होने ग्रामीण क्षेत्रों में कार्यरत शिक्षकों और गैर शिक्षकेत्तर कर्मियों को रूलर कंपशेसन देने और फ्री रेंट में क्वाटर देने का प्रस्ताव रखा ।
उन्होने नई शिक्षा नीति को लेकर वर्क शाप आयोजित करने का सुझाव दिया । इस कुलपति ने बताया कि ग्रामीण क्षेत्र में कार्यरत प्राचार्यों , शिक्षकों और शिक्षकेत्तर कर्मियों को सिंडिकेट ने इंसेंटिव देने का निर्णय लिया है । रजिस्ट्रार डा. जयंत शेखर ने बताया कि एक टीम का गठन किया गया है जो नई शिक्षा नीति के संबंध में छात्रों और शिक्षकों को जानकारी देगी । उनके लिए एक प्रश्नोत्तरी भी तैयार की जा रही है । बैठक के दौरान सदस्य प्रो. रिंकी दोराई ने छह माह के मैटरनीटी लीव देने की मांग रखी । उन्होने वर्ष 2008 में नियुक्त शिक्षकों की पदोन्नति और टाटा कालेज के शिक्षकों के क्वाटर का मामला भी उठाया ।
सदस्य प्रों संजय कुमार सिंह ने ट्रांसपोर्ट एलाउंस में शहरी और ग्रामीण क्षेत्र के शिक्षकों में भेदभाव नहीं करने , शैक्षणिक और गैर शैक्षणिक कार्य में टीए में विसंगति का मामला उठाया , वहीं तीन साल में शिक्षकों के स्थानांतरण की नीति का विरोध किया । सदस्य केपी दूबे ने सरायकेला कालेज में बीएड और एमएससी की पढाई शुरू करने और छउ की पढाई शुरू करने का मामला उठाया । जिस पर कुलपति ने बताया कि छउ की पढाई शुरू करने पर विचार किया जा रहा है , लेकिन इसके लिए सिलेबस तैयार करना होगा , शिक्षकों की व्यवस्था करनी होगी । बीएड की पढाई शुरू करने के लिए एनसीईटी के प्रावधानों को पूरा करना होगा ।
बैठक का संचालन रजिस्ट्रार डा. जयंत शेखर ने किया । इस दौरान कुलपति ने विश्वविद्यालय की उपलब्धियों को भी सामने रखा । बैठक के प्रारंभ में वर्ष 2019 से अब तक विश्वविद्यालय की विभिन्न कमेटियों की बैठकों में लिए गए निर्णयों को स्वीकृति प्रदान की गयी ।