चक्रधरपुर : रेल मंडल मुख्यालय में मंगलवार सुबह सात बजे के करीब एक के बाद एक पांच हूटर बजने से हडकंप मच गया. इसके बाद चक्रधरपुर रेलवे अस्पताल में भी एक साथ तीन हूटर बजे. सुचना मिली की सोनुआ-टुनिया के बीच एक रेल फाटक में मालगाड़ी ने एक यात्रियों से भरी बस को टक्कर मार दी है, जिसमें भारी जानमाल का नुकसान हुआ है. इस सुचना के बाद सबसे पहले मेडिकल टीम चक्रधरपुर स्टेशन पहुंची उसके बाद विभिन्न विभागों के कर्मचारी बचाव राहत के लिए घटना स्थल जाने के लिए भागदौड़ कर रहे थे.
मॉक ड्रिल के दौरान जुटे रेलकर्मी
इस दौरान अफरा-तफरी का माहौल स्टेशन में बन गया. इधर, पूरी तैयारी के साथ रिलीफ ट्रेन रवाना हो गयी तो उधर सीनियर डीसीएम मनीष पाठक सहित अधिकारीयों की टीम भी घटना स्थल की ओर कूच कर गए. कुछ देर में पता चला की यह सब एक मॉक ड्रिल था. दरअसल रेल प्रशासन दुर्घटना के वक्त अपनी तैयारी का रियलिटी चेक कर रही थी. रियलिटी चेक में साबित हुआ की रेलकर्मी और अधिकारी हूटर बजते ही सक्रीय हुए और घटना की गंभीरता को देखते हुए जितनी जल्दी हो सके घटना स्थल की ओर पुरे संसाधन और बचाव राहत की सामग्री लेकर रवाना हुए.
सुचना मिलने पर इंजीनियरिंग विभाग, कैरेज एंड वैगन विभाग, आरपीएफ के जवान सभी घटना स्थल पर तेजी से पहुँच चुके थे. मॉक ड्रिल के दौरान मशीनों से बचाव राहत का अभ्यास भी किया गया. चक्रधरपुर रेल मंडल के सीनियर डीसीएम ने कहा की यह एक मॉक ड्रिल था जिसे गोपनीय रखते हुए किया गया और अपनी तैयारी का रियलिटी चेक किया गया. रियलिटी चेक में सभी व्यवस्था दुरुस्त दिखी. वहीँ, रेलकर्मियों ने कर्त्तव्यनिष्ठ का परिचय देते हुए हूटर बजते ही बचाव राहत के लिए घटना स्थल समय पर पहुँच गए.