जमशेदपुर ।
झारखंड के स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता के गृह क्षेत्र में स्थित एमजीएम अस्पताल की अनियमितता एवं डॉक्टर की लापरवाही को उजागर करनेवाला एक और मामला सामने आया है. सड़क दुर्घटना में गंभीर रूप से घायल एक व्यक्ति पिछले 11 दिनों तक अस्पताल में रहा. बावजूद इसके बगैर सही ईलाज किये उसे अस्पातल से छुट्टी दे दी गई. यह अस्पताल की लापरवाही का लगातार दूसरा मामला है. जो दर्शाता है कि कोल्हान के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल एमजीएम की व्यवस्था किस कदर लगातार बिगड़ती जा रही है.
यह है मामला
जानकारी के मुताबिक सरायकेला-खरसावां जिला के कमलपुर पंचायत के केंदुआ गांव के निवासी प्रफुल्लो सरदार बीते दिनों सरायकेला ब्लॉक के समीप सड़क दुर्घटना में गंभीर रूप से घायल हो गए थे. दुर्घटना में उनके जबड़े की हड्डी के साथ दांत भी टूट गया था. इस बीच दर्द से कराह रहे प्रफुल्लो सरदार को बीते 19 नवंबर को एमजीएम अस्पताल में भर्ती कराया गया. जबड़े में काफी चोट लगने की वजह से डॉक्टरों ने जबड़े में 4 स्टीच मारकर ईलाज करना शुरू किया. इस दौरान सिटी स्कैन और एक्सरे करने के अलावा कई तरह के ब्लड टेस्ट किये गये. फिर 29 नवंबर को मरीज को छुट्टी भी दे दी गई. शनिवार को जब वे एमजीएम अस्पताल के ओपीडी में ईलाज कराने गए तो उन्हें पता चला कि जबड़े की हड्डी एवं दांत टूट जाने के कारण बेहतर ईलाज के उन्हें रांची स्थित रिम्स हॉस्पिटल जाना पड़ेगा. अब यहां बड़ी आश्चर्य वाली बात यह है कि एमजीएम अस्पताल में प्रफुल्लो का 11 दिनों तक करने के बावजूद डॉक्टरों को यह पता नहीं चला कि मरीज के जबड़े की हड्डी टूट गई है. यहां तक कि उसे दंत चिकित्सक के पास भी रेफर नहीं किया गया. उस वजह से वह ठीक से खाना तक नहीं खा रहा है. इतना ही नहीं, उसके मुंह से ठीक ढ़ंग से आवाज तक भी नहीं निकल पा रही है.
पंचायत समिति सदस्य ने दी आंदोलन की चेतावनी
इधर, शनिवार को प्रफुल्लो सरदार ने मामले की विस्तृत जानकारी बागबेड़ा कॉलोनी के पंचायत समिति सदस्य सुनील गुप्ता को दी. उन्होंने मरीज को एमजीएम अस्पताल ले जाकर दंत विशेषज्ञ को दिखाया. उसके बाद अपने पैसे से मरीज के जबड़े का एक्सरे भी करवाया. जिसमें बता चला कि मरीज के जबड़े के नीचे वाले भाग की हड्डी के अलावा कान के पास की हड्डी भी टूट गई है. उसके बाद पंचायत समिति सदस्य सुनील गुप्ता ने तत्काल मरीज को लेकर एमजीएम के अधीक्षक के कार्यालय पहुंचे. वहां उन्होंने अस्पताल के अधीक्षक संजय कुमार से पूरे मामले की शिकायत की. अस्पताल अधीक्षक ने पूरे मामले से अवगत होने के बाद जांच कर कार्रवाई करने का आश्वासन दिए है. इस दौरान पंचायत समिति सदस्य सुनील गुप्ता ने कहा कि एमजीएम अस्पताल में लगातार इस तरह की घटना देखने को मिल रही है. इस कारण मरीज का बेहतर ईलाज नहीं हो पा रहा है. मरीज इस अस्पताल में इलाज कराने के दौरान खुद को असुरक्षित महसूस कर रहे हैं. श्री गुप्ता ने जल्द ही स्थिति में सुधार नहीं होने पर आंदोलन करने की चेतावनी दी है.