जमशेदपुर। श्री हरि गोबिन्द सेवा समिति द्धारा भुइयाडीह स्लैग रोड़ स्थित नीतिबाग कॉलोनी में चल रहे भागवत कथा के
तीसरे दिन शनिवार को वृदांवन से पधारे श्रीहरि जी महाराज ने व्यासपीठ से शिव विवाह, सती कथा, शिव तांडव का
प्रसंग विस्तार से सुनाया।
जिसे सुनकर श्रोता भाव विभोर हो उठे।
उन्होंने देवी सती की कथा सुजाते हुए समाज को सीख भी दी।
उन्होंने कहा कि बिना निमंत्रण किसी के घर नहीं जाना चाहिए यहां तक की माता-पिता का घर भी शादी के उपरांत
पराया हो जाता है।
पति की बात माननी चाहिए, उनकी अवहेलना न करें।
यदि आपको लगे की पति जो कह रहे हैं वो ठीक नहीं है तो उनसे विचार-विमर्श करें उसके बाद दोनों मिल कर ही
निर्णय लें। जो दोनों के हक में हो।
संसार के प्रत्येक जन को चाहिए की किसी भी महिला के समक्ष उसके पति की निंदा या चुगली नहीं करनी चाहिए।
उन्होंने समाज को नई पीढ़ी के लिए सीख भी दी।
कहा कि बच्चों में संस्कार होना जरूरी है।
यदि छोटी उम्र में ही वे मोबाइल, नेट, टीवी से चिपकने लगेंगे और गलत चीज देखने लगेंगे तो गलत भावनाएं जागृत
होंगी। इसे रोकना होगा।
बड़े शहरों में यह सब हो रहा है।
आज की कथा विश्राम के बाद मुख्य यजमान सुनीता-गोविन्द राम सरोज नेे व्यासपीठ की आरती उतारी।
इस मौके पर डॉ. एस. के. तिवारी, श्रीराम सरोज, एके श्रीवास्तव, अल्पना मुख़र्जी, सविता सिन्हा, श्याम खंडेलवाल, शंकर भगत, विकाश शर्मा, हरिओम सरोज, असीम दास, शांति तिवारी, लक्ष्मण भगत समेत बड़ी संख्या में श्रद्धालु मौजूद रहे।