जमशेदपुर : सीतारामडेरा गुरुद्वारा साहिब में अमर शहीद बाबा दीप सिंह जी के शहीदी दिवस पर भव्य शोभा यात्रा निकाल कर दो दिवसीय महान कीर्तन दरबार की आरंभता हुई. शुक्रवार को गुरुद्वारा साहिब सीतारामडेरा में सर्वप्रथम अखण्ड पाठ साहिब के समाप्ति के बाद गुरुद्वारा साहिब से लेकर सजे हुए दीवान तक भव्य शोभायात्रा निकाली गई. इसके उपरांत कीर्तन दरबार की आरंभता हुई, जहां सबसे पहले बीवी राजेंद्र कौर जी हजूरी रागी गुरुद्वारा साहिब सीतारामडेरा ने गुरबाणी कीर्तन गायन किया.
इनके बाद भाई साहब भाई सुखदेव सिंह जी हजूरी रागी गुरुद्वारा साहिब सीतारामडेरा ने गुरबाणी गायन किया. बीबी मनमीत कौर के कीर्तन गायन के उपरांत ज्ञानी चरणजीत सिंह जी कथा वाचक (आनंदपुर साहिब वाले) ने गुरमत विचारों से संगत को निहाल किया. उन्होंने बताया कि गुरबाणी में लिखा है कि जो जन्म लेता है उसकी मौत निश्चित है पर जो प्रगट होता है वह कभी नहीं मरता. जैसे की गुरु साहब के बारे में कहा गया है कि उन्होंने जन्म नहीं लिया बल्कि हम उन्हें कहते हैं कि वह प्रकट हुए और कई ऐसे विषयों पर उन्होंने प्रकाश डाला. इनके बाद भाई साहब भाई नरेंद्र सिंह जी (हजूरी रागी श्री दरबार साहिब अमृतसर) ने गुरबाणी कीर्तन गायन किया.
शब्द सुनकर संगत निहाल हो गई सारा वातावरण भक्तिमय हो गया, इनके बाद दाढी जत्था भाई साहब भाई जसवीर सिंह जी “मान” ने वीर रस से संगत में जोश भरा, उन्होंने बताया किस प्रकार बाबा दीप सिंह जी ने जुल्म के खिलाफ लड़ाई शुरू की, दाढी जत्था ने जोशीले अंदाज में गायन किया “धरती नू ला दू कम्मबड़ी, जदो वज्जू रणजीत नागरा”. इसके बाद गुरु का अटूट लंगर भी चलाया गया. इस अवसर पर गणमान्य व्यक्तियों को सम्मानित भी किया गया.
सम्मानित होने वालों में मुख्य रूप से ओढ़िशा के राज्यपाल रघुवर दास, अभय सिंह,सरदार मंजीत सिंह रंगरेटा, सीजीपीसी के प्रधान सरदार भगवान सिंह, सरदार अमरजीत सिंह, सरदार शैलेंद्र सिंह, सरदार गुरचरण सिंह बिल्ला, सरदार दलवीर सिंह अध्यक्ष होमपाइप गुरुद्वारा साहिब, सरदार चंचल सिंह, सेंट्रल नौजवान सभा के अध्यक्ष सरदार अमरीक सिंह, सरदार परविंदर सिंह सोहल, सतवीर सिंह सोमु, सरदार चंचल सिंह भाटिया, सरदार मनमोहन सिंह जुस्को, डॉ राजेंद्र सिंह टीनप्लेट, सेंट्रल सिक्ख स्त्री सत्संग सभा की चेयरपर्सन बीबी कमलजीत कौर अध्यक्ष बीबी रविंद्र कौर, दशमेश कीर्तनी जत्था जुगसलाई, सरदार सुरेंद्र सिंह शिंदे, सरदार कुलविंदर सिंह पन्नू, टीनप्लेट गुरुद्वारा के अध्यक्ष सरदार सुरजीत सिंह आदि शामिल थे.
कीर्तन दीवान को सफल बनाने में ट्रस्टी सरदार उत्तम सिंह, मुख सेवादार सरदार सरदार हरजिंदर सिंह, वरीय उपाध्यक्ष सरदार सुखविंदर सिंह मिट्ठू ,सरदार अविनाश सिंह खालसा महासचिव, सरदार अमरजीत सिंह, सरदार सरबजीत सिंह कोषाध्यक्ष, सरदार गुरदीप सिंह, सरदार सत्येंद्र सिंह, सरदार गुरदीप सिंह ,लाडी सरदार जसवंत सिंह, सरदार सुरजीत सिंह, सरदार गुरमीत सिंह विक्की, सरदार संता सिंह, सरदार मनमीत सिंह ,सरदार गुरमिंदर सिंह बंटी ,सरदार जगजीत सिंह सोनू , सरदार कमलजीत सिंह बबलू का उल्लेखनीय योगदान रहा. मंच का संचालन गुरुद्वारा साहब साकची के महासचिव सरदार परमजीत सिंह काले ने किया.