सरायकेला-खरसावां : पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी के द्वारा आदिवासियों को जन्म से हिंदू होने तथा आदिवासियों को हिंदू नहीं कहने पर जनजातीय लाभ खत्म करने की बयान पर विभिन्न आदिवासी संगठनों ने आक्रोशित होकर बाबूलाल मरांडी का पुतला दहन किया तथा बाबूलाल मरांडी के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। बुधवार की शाम को आदिवासी संगठन पातकोम दिशोम माझी पारगाना माहाल, आदिवासी समन्वय समिति, भारतीय आदिम परिषद ,कुड़ुख विकास परिषद, गांव गणराज्य लोक समिति ने सरायकेला- खरसावां जिले के चांडिल बाजार चौक में बाबूलाल मरांडी का पुतला दहन किया। पुतला दहन के दौरान संगठन के सदस्य अपने- अपने हांथो में पम्पलेट लिए हुए थे। जिसमें लिखा हुआ था आदिवासी प्रकृति पूजक है, आदिवासी हिन्दू नहीं है। आज़ाद शेखर मांझी ने कहा कि बाबूलाल मरांडी का बयान निंदनीय है आदिवासी किसी भी कीमत पर हिंदू नहीं हो सकते। बाबूलाल मरांडी आदिवासियों को दिग्भ्रमित करने का काम कर रहे है। आदिवासियों को हिन्दू कहने पर इसका चौतरफा विरोध किया जाएगा।
पुतला दहन में ये थे शामिल
पुतला दहन में प्रकाश मर्डी, श्यामल मार्डी, आज़ाद शेखर मांझी, रूपाली हेम्बम, डोमोन बासके, करमु मार्डी, सुचांद उरांव , वृहस्पति मुंडा, बुध्देश्वर किस्कु, हराधन माडी, सिलु टुडु, सोमचांद उरांव, अरुण आदि उपस्थित थे।