पूर्वी सिंहभूम : टांगराइन और इसके आस-पास के आधा दर्जन गांवों के लोगों ने रैली निकालकर कहा- रोड नहीं तो वोट नहीं. कई गांव के ग्राम प्रधान, पंचायत समिति सदस्य, पूर्व मुखिया और ग्रामीणों ने कहा कि कोवाली से लेकर तिरिंग बॉर्डर तक 12 किलोमीटर सड़क जर्जर है. सड़क के पत्थर बाहर निकल आए हैं. इसके कारण गांव तक एंबुलेंस नहीं पहुंच पाती है. खासकर मरीजों एवं गर्भवती महिलाओं को इस रोड से ले जाना काफी जोखिम भरा होता है. ग्रामीणों ने कहा कि इस रास्ते से होकर सीदिरसाई रेलवे हाल्ट, पंचायत भवन एवं दो-दो लैंप्स स्थित है.
ठगा सा महसूस कर रहे ग्रामीण
गांव के धनंजय सरदार, पंचायत समिति सदस्य रामेश्वर पात्र, ग्राम प्रधान मंगल पान, ग्राम प्रधान सिंह राय माझी, आझो टुडू, पूर्व मुखिया राजा राम मुंडा, उज्जवल मंडल एवं मानसिंह सरदार ने कहा रोड नहीं तो वोट नहीं. अपने आप को ग्रामीण ठगा सा महसूस कर रहे हैं. ग्रामीणों का कहना है कि बरसों से हमलोग इस रोड के लिए लगातार आंदोलन करते रहे हैं. मगर इस ओर किसी का ध्यान नहीं गया.
30 किमी. कम हो जाएगी दूरी
ग्रामीणों ने कहा कि विधायक, संसद एवं स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता तथा जिले के उपयुक्त को भी मांगपत्र सौंप चुके हैं. बावजूद रोड की ओर किसी का ध्यान नहीं है. यह सड़क कोवाली से एनएच 220 को जोड़ती है. 12 किलोमीटर इस सड़क के बन जाने से लोगों को 30 किलोमीटर दूरी कम हो जाएगी. लोगों को सीदिरसाई हॉल्ट में रात को आने वाली ट्रेनों से घर जाने में यात्रियों को दिक्कत नहीं होगी.
गर्भवती महिलाओं को होती है परेशानी
महिलाओं ने कहा कि गर्भवती महिलाओं को इस रोड से ले जाना काफी कष्टप्रद होता है. रोड नहीं तो वोट नहीं का नारा गूंजता रहा. विरोध-प्रदर्शन में उज्जवल मंडल, सिघराई माझी (ग्राम प्रधान ) सुख मोहन सरदार, जयराम सरदार, बबलू मुंडा, सीता नाथ पातर, राय मनी सरदार, भावी सरदार, जोबा सरदार, जोबामणि सरदार, रेवती सरदार, सविता सरदार, गुलाबी सरदार आदि उपस्थित थे.